Rajrishi
हमें सौभाग्यशाली बना देता है मां का आशीर्वाद – रविन्द्र सिंह, सदस्य, छ.ग. योग आयोग*

सादर प्रकाशनार्थ
प्रेस विज्ञप्ति
*हमें सौभाग्यशाली बना देता है मां का आशीर्वाद – रविन्द्र सिंह, सदस्य, छ.ग. योग आयोग*
*मंजू दीदी ने मां दुर्गा की अष्ट भुजाओं का रहस्य बताकर विजयादशमी के लिए दिव्य संदेश दिया…*
राज किशोर नगर :- कोरोना महामारी जैसी विषम परिस्थिति के बाद भी आज हम यहां मां के चैतन्य नौ स्वरूपां का दर्शन कर उनका आशीर्वाद प्राप्त कर रहे हैं, ये हम सबके लिए सौभाग्य की बात है। मां से यही प्रार्थना है कि नगर के सभी लोगों के जीवन में सुख-शांति-समृद्धि बनी रहे।
उक्त बातें ब्रह्माकुमारीज़ राज किशोर नगर सेवाकेन्द्र में आयोजित चैतन्य देवियों की झांकी के दर्शन के लिए पधारे छ.ग. योग आयोग के सदस्य भ्राता रविन्द्र सिंह जी ने मां की आरती के पश्चात् शुभकामनाएं प्रेषित करते हुए कही। आपने संस्था द्वारा किये जाने वाले जन कल्याण की सेवाओं की प्रशंसा की।
*इस अवसर पर आयोजित सत्संग में ब्रह्माकुमारी मंजू दीदी जी* ने मां की आठ भुजाओं में स्थित आठ अलंकारों का आध्यात्मिक रहस्य बताते हुए कहा कि *तलवार* ज्ञान और योग की शक्ति का प्रतीक है जो आसूरी प्रवृत्तियों का गला काट देती है, स्वयं के दर्शन के लिए *स्वदर्शन चक्र* कि मैं कौन हूं मेरे इस मानव जीवन का क्या उद्देष्य है, अपने लक्ष्य को साधने के लिए *तीरकमान* , जीवन को न्यारा व प्यारा बनाने के लिए *कमल फूल* समान पवित्र जीवन, शारीरिक, मानसिक व आर्थिक तीन शूलों को नष्ट करने के लिए आध्यात्मिकता की शक्ति अर्थात् *त्रिशूल*, सदा सभी को प्यार, सम्मान, शुभभावना देने की भावना रूपी *वरदानी हस्त*, ज्ञान की *गदा* व ज्ञान रूपी *शंख* – ये आठ अलंकार की सौगात सभी श्रद्धालुजन माता रानी से जरूर प्राप्त करें।
*विजयादशमी* पर दिव्य संदेश देते हुए दीदी ने कहा कि दशहरा पर हम कोई न कोई बुराई को छोड़ने का संकल्प जरूर करें। रावण के दस शीष दस विकारों- काम, क्रोध, लोभ, मोह, अहंकार, ईर्ष्या, घृणा, द्वेष, नफरत व वैरभाव का प्रतीक है। रावण जलाने के साथ इन दस विकारों से दूर रहने का संकल्प करें। तब ही रावण दहन करना सार्थक होगा।
इस दिन रावण के साथ कुंभकरण और मेघनाथ का भी पुतला जलाते हैं क्योंकि *कुंभकरण आलस्य का व मेघनाथ क्रोध* का प्रतीक है। ये विकार हमें श्रेष्ठ कार्यों में सफल होने से रोकते हैं।
झांकी दर्शन के लिए शहर के साथ गांव के लोग भी झांकी दर्शन व सत्संग लाभ ले रहे हैं। दीदी ने बतलाया कि यह झांकी 6 अक्टूबर तक सजी रही रहेगी। श्रद्धालु जन इसका लाभ ले सकते हैं।